facebook – Chhattisgarh Tehelka https://cgtehelka.in News jo tahelka Macha de Thu, 22 Nov 2018 09:39:36 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.8 इस्तीफा नहीं देंगे फेसबुक के चेयरमैन मार्क जुकरबर्ग https://cgtehelka.in/2018/11/22/%e0%a4%87%e0%a4%b8%e0%a5%8d%e0%a4%a4%e0%a5%80%e0%a4%ab%e0%a4%be-%e0%a4%a8%e0%a4%b9%e0%a5%80%e0%a4%82-%e0%a4%a6%e0%a5%87%e0%a4%82%e0%a4%97%e0%a5%87-%e0%a4%ab%e0%a5%87%e0%a4%b8%e0%a4%ac%e0%a5%81/ Thu, 22 Nov 2018 09:39:36 +0000 https://chhattisgarhtimes.in/?p=3572 वाशिंगटन। डाटा लीक को लेकर घिरे फेसबुक के चेयरमैन मार्क जुकरबर्ग ने अपने इस्तीफे की अटकलों को खारिज कर दिया है। डाटा लीक पर फेसबुक को कई तरह की जांच का सामना करना पड़ रहा है, जिससे जुकरबर्ग पर पद छोड़ने के लिए निवेशकों का भारी दबाव है।
जुकरबर्ग ने सीएनएन के साथ बातचीत में कहा कि फेसबुक के चेयरमैन पद से इस्तीफा देने की उनकी अभी कोई योजना नहीं है। पद छोड़ने के लिए अभी यह सही वक्त भी नहीं है। गौरतलब है कि अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव के दौरान रूस के हस्तक्षेप को लेकर सियासी तूफान मच गया था।
तब यह कहा गया था कि रूस ने फेसबुक का इस्तेमाल कर चुनाव को प्रभावित करने की कोशिश की। पिछले हफ्ते न्यूयॉर्क टाइम्स ने एक खबर प्रकाशित की थी, जिसमें कहा गया था कि राष्ट्रपति चुनाव में रूसी हस्तक्षेप को लेकर फेसबुक को पहले से ही जानकारी थी, लेकिन उसने उस पर ध्यान नहीं दिया।
खबर के मुताबिक फेसबुक ने अपनी तरफ से ध्यान भटकाने के लिए दूसरी कंपनियों के खिलाफ गलत खबरें भी फैलाईं। जुकरबर्ग ने रूसी हस्तक्षेप के मामले में यह तो माना कि कंपनी से कुछ गलतियां हुई, लेकिन उन्होंने अखबार की खबर को पूरी तरह से सही मानने से भी इन्कार कर दिया।

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डाटा चोरी मामले में फेसबुक पर लगा पांच लाख पौंड का जुर्माना https://cgtehelka.in/2018/10/26/%e0%a4%a1%e0%a4%be%e0%a4%9f%e0%a4%be-%e0%a4%9a%e0%a5%8b%e0%a4%b0%e0%a5%80-%e0%a4%ae%e0%a4%be%e0%a4%ae%e0%a4%b2%e0%a5%87-%e0%a4%ae%e0%a5%87%e0%a4%82-%e0%a4%ab%e0%a5%87%e0%a4%b8%e0%a4%ac%e0%a5%81/ Fri, 26 Oct 2018 06:53:12 +0000 http://chhattisgarhtimes.in/?p=1997 लंदन। ब्रिटेन के सूचना आयुक्त ने फेसबुक पर पांच लाख पौंड (करीब 4.7 करोड़ रुपये) का जुर्माना लगाया है। यह जुर्माना ब्रिटिश फर्म कैंब्रिज एनालिटिका मामले में इस सोशल नेटवर्किंग साइट के बर्ताव को लेकर लगाया गया है। कैंब्रिज एनालिटिका ने अनुचित तरीके से एक एप के जरिये करोड़ों फेसबुक यूजर्स का डाटा हासिल कर लिया था।
इस डाटा का इस्तेमाल कथित तौर पर साल 2016 में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के चुनाव प्रचार अभियान के दौरान भी किया गया था। ब्रिटेन के सूचना आयुक्त कार्यालय (आइसीओ) की जांच में पाया गया कि साल 2007 से 2014 के दौरान फेसबुक ने यूजरों की सहमति के बगैर एप डेवलपर को उनकी निजी जानकारियों तक पहुंचने दिया।
इस मामले में उल्लंघन के दौरान लागू कानून के तहत अधिकतम जुर्माना ठोका गया है। अगर यह मामला यूरोपीय संघ (ईयू) के नए डाटा सुरक्षा कानून लागू होने के बाद होता तो जुर्माने की राशि बहुत ज्यादा होती। डाटा लीक की घटना के बाद ईयू ने कड़े कानून प्रभावी किए हैं। इस साल मार्च में डाटा लीक का मामला सामने आने के बाद फेसबुक की दुनियाभर में खूब आलोचना हुई थी।
आरोप लगाया गया था कि सियासी सलाहकार कंपनी कैंब्रिज एनालिटिका ने फेसबुक के करोड़ों यूजरों के डाटा का दुरुपयोग किया।
आठ करोड़ यूजर्स का डाटा हुआ था लीक
कैंब्रिज एनालिटिका ने आठ करोड़ से ज्यादा फेसबुक यूजर्स का डाटा एक एप के जरिये हासिल किया था। यह एप करीब 2.70 लाख लोगों ने डाउनलोड किया था। शुरू में पांच करोड़ यूजरों का डाटा लीक होने की जानकारी सामने आई थी। बाद में फेसबुक ने माना था कि आठ करोड़ से ज्यादा यूजरों का डाटा लीक हुआ था।

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